नई दिल्ली / अम्बाला – पिछले 2 वर्षों से बेहद चर्चा में रहा और बरसों से जिस ताकतवर लड़ाकू विमान राफेल का इंतजार हो रहा था, आज दोपहर लगभग 3 बजे पाँचों राफेल फाइटर जेट जहाज़ों ने अंबाला के एयरबेस पर गरजते हुए अपनी शानदार लैंडिंग की.
जहाज़ों की लेंडिंग के तुरंत बाद देश के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने देश को जानकारी दी कि फाइटर्स अंबाला में सुरक्षित तरीके से लैंड कर चुके हैं, उन्होंने ट्वीट किया, ‘भारत में राफेल लड़ाकू विमानों का पहुंचना हमारे सैन्य इतिहास में एक नए युग की शुरुआत है, यह मल्टीरोल एयरक्राफ्ट निश्चित ही हमारी वायुसेना की ताकत को बढ़ाएंगे,’ राजनाथ ने दो टूक कहा कि अब किसी को अगर भारतीय वायुसेना की ताकत को लेकर चिंता करना चाहिए तो उन्हें जो हमारी क्षेत्रीय अखंडता को खतरे में डालना चाहते हैं.
फ्रांस से इन लड़ाकू विमानों के पहले बैच के भारत पहुंचने पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उनके स्वागत में संस्कृत में ट्वीट किया है, प्रधानमंत्री ने अंबाला में राफेल के टच डाउन का वीडियो शेयर करते हुए संस्कृत में ट्वीट किया कि राष्ट्र रक्षा के समान कोई पुण्य, व्रत या यज्ञ नहीं होता, उन्होंने लिखा –
राष्ट्ररक्षासमं पुण्यं,
राष्ट्ररक्षासमं व्रतं,
राष्ट्ररक्षासमं यज्ञो,
दृष्टो नैव च नैव च II,
नभः सदृशं दीप्तम्
प्रधानमंत्री ने ‘नभः सदृशं दीप्तम्’ एयर फोर्स के आदर्श वाक्य का भी प्रयोग किया है.
राजनाथ सिंह ने भी राफेल की अम्बाला लैंडिंग के लिए कई ट्वीट किए, उन्होंने लिखा, ‘मैं भारतीय वायुसेना को बधाई देता हूं, मुझे यकीन है कि 17 स्क्वॉड्रन, गोल्डन एरो अपने मिशन पर काम करता रहेगा, मुझे बेहद खुशी है कि IAF की युद्धक क्षमता में समय पर बढ़ोतरी हुई है,’ आपको बता दें कि भारत में राफेल लड़ाकू विमानों की पहली खेप ऐसे समय में पहुंची है, जब पूर्वी लद्दाख में करीब तीन महीने से चीन के सैनिकों के साथ तनावपूर्ण हालात बने हुए हैं.
गृह मंत्री अमित शाह ने भी एयर फ़ोर्स को राफेल के आने पर बधाई दी है, उन्होंने कहा राफेल के आने से भारतीय रक्षा पंक्ति को एक नयी ताकत मिलेगी और दुश्मन को मुंह की खानी पड़ेगी.
प्रधानमंत्री और रक्षा मंत्री दोनों ने राफेल के अंबाला में लैंडिंग का वीडियो भी शेयर किया है, राजनाथ ने फ़्रांस से इन राफेल जेट खरीदे जाने को लेकर प्रधानमंत्री को धन्यवाद दिया है, उन्होंने कहा कि इन विमानों को हासिल करने का सही फैसला लिया, इससे पहले लंबे समय से खरीद प्रक्रिया अटकी हुई थी.
राफेल एटमी हथियार ले जाने की ताकत रखने वाला दुनिया में अकेला ऐसा विमान है जो 55 हजार फीट की ऊंचाई से भी दुश्मन को तबाह करने की ताकत रखता है, बड़ी बात यह है कि ये काबिलियत हमारे पड़ोसियों पाकिस्तान और चीन दोनों की ही सेना के पास नहीं है.
5 विमानाें की बैच में सबसे पहले विमान काे वायुसेना की 17वीं गोल्डन एरो स्क्वॉड्रन के कमांडिंग ऑफिसर और शौर्य चक्र विजेता ग्रुप कैप्टन हरकीरत सिंह ने लैंड करवाया, उसके बाद 4 अन्य राफेल लैंड हुए, इस मौके पर राफेल को लाने वाले पायलटों के परिवार भी मौजूद रहे.
भारत और फ्रांस की सरकार के बीच करीब 60 हजार करोड़ रुपये में हथियारों से सुसज्जित 36 राफेल लड़ाकू विमानों का सौदा हुआ है, उसी डील के तहत 5 राफेल लड़ाकू विमानों की पहली खेप बुधवार को अंबाला स्थित इंडियन एयरफोर्स के एयरबेस पर पहुंची.